निस्पक्ष जांच की मांग कर फरार हुए महामाया मंदिर ट्रस्ट के उपाध्यक्ष सतीश शर्मा ,कर्मचारी गजेंद्र तिवारी और सहयोगी आनंद जायसवाल ?

महामाया मन्दिर ट्रस्ट के अध्यक्ष उन्हें सामने लाकर वन विभाग को सुपुर्द कर निष्पक्ष जांच करवाएंगे ? बड़ा सवाल।

रतनपुर —–कछुआ कांड को लेकर महामाया मन्दिर ट्रस्ट लगातार घिरती नजर आ रही है अब तो नया कारनामा जुड़ गया है कि एक तरफ पूरा मन्दिर ट्रस्ट के पदाधिकारी बिलासपुर प्रेसक्लब पहुच कर प्रेस वार्ता कर कहा गया कि मन्दिर ट्रस्ट को बदनाम किया जा रहा है ट्रस्ट का इस प्रकरण से कोई लेना देना नही है कहते हुए निष्पक्ष जांच की मांग करते है दूसरी तरफ नवरात्र के अंतिम दिन सभी आरोपी फरार हो जाते है जिसपर अब लोग कह रहे है कि क्या मन्दिर ट्रस्ट के अध्यक्ष इन संदिग्धों को सामने लाकर वन विभाग को सौपकर निष्पक्ष जांच करवाएंगे।

आपको बता दे कि 25 मार्च को 23 कछुए की मौत का मामला महामाया कुंड में सामने आया था जहाँ वन विभाग की टीम ने मृत इन कछुए का पोस्टमार्टम करवाकर जांच शुरू किया तब मन्दिर ट्रस्ट द्वारा सुरक्षा के लिये लगाए गए सीसीटीवी फुटेज देखने से 22 ओर 23 मार्च की दरमियानी रात कुछ लोगो के द्वारा कुंड में जाल डालकर मछली निकालते नजर आए तब वन विभाग की टीम ने पूछताछ शुरू की जिसपर मन्दिर ट्रस्ट के उपाध्यक्ष ,कर्मचारी ,एवम सहयोगी की संलिप्तता नजर आयी ।जिसपर वन विभग्ग की टीम ने सभी को समंध जारी कर उपस्थित होकर बयान दर्ज कराने को कहा तब सभी लोग वन कार्यालय पहुचे जहाँ वन विभाग की टीम ने पूछताछ की फिर 4 अप्रेल की दूसरी तारीख इन लोगों को मिल गयी उपस्थित होने के लिये ।फिर क्या था कि राजनीतिक दबाव कहे या नवरात्र पर्व के चलते इन्हें कुछ दिनों की छूट मिल गयी जिसपर मौके का फायदा उठाते उपाध्यक्ष ने अग्रिम जमानत याचिका लगाई जो कि खारिज कर दी गयी वही दूसरे संदिग्ध ने भी अग्रिम ज़मानत के लिये आवेदन लगाया पर स्थिति को भांपते ही अपना आवेदन वापस ले लिया ।इन सबके बीच महामाया मन्दिर ट्रस्ट लगातार घिरती नजर आ रही थी इनपर दबाव बढ़ते गया

तब मन्दिर ट्रस्ट के पदाधिकारी एक साथ प्रेसक्लब बिलासपुर पहुचकर प्रेस वार्ता कर कछुए की मौत मामले में ट्रस्ट का हाथ होने से इनकार किया साथ ही सडयंत्र कर ट्रस्ट को बदनाम करने की बात कही और प्रसासन से निष्पक्ष जांच की मांग की गयी ।साथ ही ट्रस्ट जांच में पूरा सहयोग करने की बात कही गयी ।प्रेसवार्ता किये दो दिन ही बीत पाया था कि सभी संदिग्ध मोबाइल बन्द कर फरार हो गए वन विभाग की टीम उन्हें तलाशने में जुट गई है ।

निष्पक्ष जांच की मांग पर उठे सवाल—-/

महामाया मन्दिर ट्रस्ट के अध्यक्ष आशीष सिंह अपने पदाधिकारियों के साथ प्रेसक्लब पहुचकर प्रेसवार्ता कर निष्पक्ष जांच की प्रसासन से मांग करते है साथ ही वन विभाग के जांच में सहयोग भी करने का वादा किया जाता है

लेकिन 2 दिन बाद ही ट्रस्ट के उपाध्यक्ष अपने सहयोगी औऱ कर्मचारी को लेकर फरार हो जाता है जिसपर लोग अब ट्रस्ट द्वारा निष्पक्ष जांच की मांग पर सवाल उठा रहे है।

ट्रस्ट के अध्यक्ष की जिम्मेदारी है — —–

महामाया मन्दिर ट्रस्ट के अध्यक्ष आशीष सिंह जिस तरह प्रेसवार्ता कर प्रसासन से निष्पक्ष जांच की मांग करते है साथ ही वन विभाग की टीम का जांच में पूरा सहयोग का वादा करते है फिर अचानक से संदिग्धों का फरार हो जाने पर लोग अध्यक्ष से सवाल कर रहे है कि क्या उनके द्वारा फरार संदिग्ध लोगो को सामने लाकर वन विभाग को सौपकर जांच में सहयोग की जाएगी क्योकि अब अध्यक्ष की जिम्मेदारी बनती है कि वे आगे आये और इन्हें सौपकर निष्पक्ष जांच करवाएं।

फरार होने से सन्देह के दायरे में मन्दिर ट्रस्ट—–

महामाया मन्दिर ट्रस्ट के अध्यक्ष आशीष सिंह मैनेजिंग ट्रस्टी अरुण शर्मा ओर उपाध्यक्ष सतीश शर्मा ने प्रेसवार्ता कर कहा था कि इस प्रकरण पर ट्रस्ट का दूर दूर तक लेना देना नही है लेकिन प्रेसवार्ता के दो दिन बाद उपाध्यक्ष का अचानक फरार हो जाना ट्रस्ट की भी मिलीभगत का सन्देह अब लोग करने लगे है महामाया मन्दिर ट्रस्ट भी अब कछुआ कांड के सन्देह के दायरे में आने लगा है ।

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